प्रति व्यक्ति आय का अर्थ है किसी देश या क्षेत्र की कुल राष्ट्रीय आय को वहां की कुल जनसंख्या से विभाजित करने पर प्राप्त औसत आय।
यह आर्थिक सूचकांक यह बताता है कि किसी देश में रहने वाले प्रत्येक व्यक्ति की औसतन कितनी आय है।
👉 आसान शब्दों में कहें तो,
“प्रति व्यक्ति आय = कुल राष्ट्रीय आय ÷ कुल जनसंख्या”
यह किसी देश के नागरिकों के जीवन स्तर और आर्थिक स्थिति को समझने का एक प्रभावी तरीका है।
प्रति व्यक्ति आय (PCI) = राष्ट्रीय आय (National Income) ÷ कुल जनसंख्या (Total Population)
PCI = NI ÷ P
मान लीजिए भारत की कुल राष्ट्रीय आय ₹300 लाख करोड़ रुपये है और जनसंख्या 140 करोड़ है।
राष्ट्रीय आय (NI) = ₹3,00,00,00,00,000
जनसंख्या (P) = 140,00,00,000
तो,
PCI = 3,00,00,00,00,000 ÷ 140,00,00,000
PCI = ₹21,428.57
प्रति व्यक्ति आय से यह पता चलता है कि किसी देश के नागरिक औसतन कितना कमाते हैं, जिससे जीवन स्तर का अंदाजा लगाया जा सकता है।
विभिन्न देशों की PCI तुलना करके यह समझा जाता है कि किस देश के नागरिक ज्यादा समृद्ध हैं।
किसी देश के आर्थिक विकास की दर मापने के लिए PCI एक प्रमुख मानक माना जाता है।
सरकारें PCI के आधार पर नीतियां बनाती हैं, ताकि गरीबों के उत्थान और समृद्धि के लिए योजना बनाई जा सके।
प्रति व्यक्ति आय केवल आंकड़ा नहीं है, बल्कि देश की आर्थिक सेहत और नागरिकों की औसत आय को दर्शाने वाला महत्वपूर्ण पैमाना है। यह हमें बताता है कि हमारी अर्थव्यवस्था किस दिशा में जा रही है और लोगों के जीवन स्तर में कितना सुधार हुआ है।
इसलिए, PCI का अध्ययन न केवल अर्थशास्त्रियों के लिए, बल्कि आम जनता के लिए भी जरूरी है ताकि वे अपने देश की आर्थिक स्थिति को बेहतर तरीके से समझ सकें।